दिल्ली। देश में काम के लिए सबसे ज्यादा भागदौड़ दिल्ली और गोवा के लोग करते हैं। यह बात सांख्यिकी एवं कार्यक्रम क्रियान्वयन मंत्रालय द्वारा जारी टाइम यूज सर्वे​ रिपोर्ट में सामने आई है। दिल्ली के लोग जहां नौकरी और व्यवसाय में प्रतिदिन नौ घंटे 23 मिनट खर्च करते हैं, वहीं गोवा के लोग आठ घंटे 56 मिनट खर्च करते हैं। हरियाणा के आठ घंटे 38 मिनट तो महाराष्ट्र के सात घंटे 56 मिनट खर्च करते हैं। इस रिपोर्ट के अनुसार, भारत में एक व्यक्ति औसतन रोजाना 455 मिनट (लगभग 7.5 घंटे) काम से संबंधित गतिविधियों में व्यतीत करता है, जबकि दिल्ली में यह समय बढ़कर 571 मिनट यानी करीब 9.5 घंटे हो जाता है। इसमें दफ्तर आने-जाने का समय भी शामिल है। सर्वे के अनुसार राष्ट्रीय समय सात घंटे 20 मिनट है। 

कई राज्यों में सात घंटे काम करते हैं लोग
तमिलनाडु में यह समय 484 मिनट यानी लगभग 8 घंटे तो वहीं ओडिशा, बिहार, मध्य प्रदेश और राजस्थान जैसे राज्यों में लोग औसतन सात घंटे काम में बिताते हैं। इसमें पुरुषों और महिलाओं के काम के समय में भी अंतर पाया गया। सबसे अ​धिक अंतर उत्तर प्रदेश में पाया गया। ग्रामीण भारत की तुलना में शहरी क्षेत्रों में लोग ज्यादा समय रोजगार से जुड़ी गतिविधियों में व्यतीत करते हैं।  

दूसरे सर्वे की आई रिपोर्ट
भारत में टाइम यूज सर्वे पहली बार 2019 में किया गया था। दूसरा सर्वे साल 2024 में जनवरी से दिसंबर के बीच किया गया था, जिसका रिजल्ट अब सामने आया है। इस सर्वे में 1.39 लाख फैमिली और 6 साल से अधिक उम्र के 4.54 लाख लोगों को शामिल किया गया। टाइम यूज सर्वे में यह पता लगाया गया कि लोग विभिन्न गतिविधियों में कितना समय खर्च करते हैं, इसमें बच्चों की देखभाल, काम, वॉलंटियर और सोशल मेलजोल में कितना वक्त बिताना भी शामिल है। सर्वे का पहला मकसद महिलाओं और पुरुषों का सैलरीड और नॉन-सैलरीड गतिविधियों में भागीदारी का आंकलन करना है।

अवैतनिक काम में महिलाएं आगे 
अगर पुरुषों और महिलाओं के कामकाज की बात की जाए तो कुछ खास अंतर नहीं है। पुरुषों की बात की जाए तो वो रोजाना 473 मिनट खर्च करते हैं, जबकि महिलाएं 341 मिनट काम  करती हैं। हालांकि अवै​तनिक काम की बात आती है तो महिलाएं काफी आगे हैं। महिलाएं भोजन बनाने, साफ-सफाई करने, घरेलू रख-रखाव, फैमिली के लिए खरीदारी करने जैसे काम के  लिए रोजाना 289 मिनट खर्च करती हैं, जबकि पुरुष इन गतिविधियों सिर्फ 88 मिनट खर्च करते हैं।

उत्तर प्रदेश में पुरुषों और महिलाओं के बीच कामकाजी समय में सबसे ज्यादा अंतर
रिपोर्ट का एक महत्वपूर्ण पहलू लैंगिक असमानता भी है। उत्तर प्रदेश में पुरुषों और महिलाओं के बीच कामकाजी समय में सबसे ज्यादा अंतर दर्ज किया गया। यहां पुरुषों और महिलाओं के काम के समय में सबसे ज्यादा 72% का अंतर दर्ज किया गया। इसके बाद बिहार का स्थान है, जहां यह अंतर 71.6 प्रतिशत है। दिल्ली और केरल में यह अंतर अपेक्षाकृत कम है। यहां पुरुषों और महिलाओं के काम के समय में 22 प्रतिशत का ही अंतर है। गोवा में यह अंतर केवल 8 प्रतिशत पाया गया।

ग्रामीण और शहरी भारत में फर्क 
ग्रामीण भारत में 15 से 59 वर्ष की आयु का एक व्यक्ति औसतन 424 मिनट काम से जुड़ी गतिविधियों में लगाता है, जबकि शहरी इलाकों में यह समय बढ़कर 494 मिनट हो जाता है। इससे स्पष्ट होता है कि शहरी भारत में कार्यभार ग्रामीण की तुलना में अधिक है। 

देश में सबसे ज्यादा कामकाजी हैं गोवा की महिलाएं
सर्वे के अनुसार दिल्ली वाले प्रतिदिन 563 मिनट काम करते हैं, जबकि गोवा के लोग 536 मिनट काम करते हैं। बात जब महिलाओं आती है तो गोवा सबसे आगे है। गोवा की महिलाएं 509 मिनट काम करती हैं। दिल्ली 407 मिनट के साथ दूसरे और मेघालय 397 मिनट के साथ तीसरे नंबर पर है। महिलाएं सबसे कम काम बिहार में करती हैं। बिहार में महिलाएं सिर्फ 256 मिनट, नागालैंड में 257 मिनट और उत्तर प्रदेश में 271 मिनट काम करती हैं।